सस्ते होंगे रेलवे टिकट, खत्म हो सकती है फ्लेक्सी फेयर योजना
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नई दिल्ली (प्रेट्र)। लागू करने के दो साल बाद रेलवे ने अपनी फ्लेक्सी फेयर नीति को पर्याप्त रूप से संशोधित करने का फैसला ले लिया है। अब रेलमंत्री पीयूष गोयल की मंजूरी की प्रतीक्षा है। यह जानकारी सूत्रों ने दी है। आम चुनाव से पहले होने वाले संशोधन से यात्रियों को बड़ी राहत मिलेगी। इस योजना के तहत यात्रियों को कई बार कुछ सेक्टरों में रेल यात्रा के लिए विमान किराए के जितना भुगतान करना पड़ता है।
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more... चुनी हुई प्रीमियम ट्रेनों में ही राहत मिल सकती है। ऐसी ट्रेनों में बुकिंग में पर्याप्त रूप से कमी पाई गई है। बिहार, बंगाल और उत्तर प्रदेश के मार्गो पर चलने वाली ट्रेनों में यह राहत मिल सकती है। बोर्ड और वित्त आयुक्त से मंजूरी के बाद भी अधिकारी संशोधित फ्लेक्सी फेयर योजना के बारे में कुछ भी साझा नहीं करना चाहते हैं। इसका कारण यह है कि गोयल की मंजूरी नहीं मिलती है तो सेक्शन में बदलाव संभव है। रेलमंत्री के कार्यालय के सूत्रों ने कहा कि फैसला शीघ्र लिया जाएगा।
प्रक्रिया में शामिल एक वरिष्ठ अधिकारी ने कहा, 'मंत्री द्वारा मंजूर होने के बाद ही यह योजना अंतिम होगी। वही फैसला लेंगे कि चुनी हुई ट्रेनों की जगह सभी से इसे हटा लिया जाए। पूर्व में समिति ने सुझाव दिया था जिसे बोर्ड ने मंजूरी दे दी थी, लेकिन मंत्री ने उसे खारिज कर दिया था। इसलिए अंतिम मंजूरी की प्रतिक्षा है।' गोयल के निर्देश पर रेलवे ने पिछले वर्ष समिति गठित की थी।
क्या होता है फ्लेक्सी फेयर सिस्टम?
भारतीय रेलवे की तरफ से लागू की गई फ्लेक्सी फेयर प्रणाली पूरी तरह से मांग-आपूर्ति पर निर्भर होती है। इसके तहत जिस समय टिकट की मांग ज्यादा होती है उस वक्त टिकट की कीमतें बढ़ा दी जाती है। ऐसा त्योहारी सीजन में ही होता है। वहीं, दूसरी ओर जब टिकट की मांग कम हो जाती हैं तब कीमतें सामान्य हो जाती हैं। अब तक हवाई जहाज की टिकटों में ऐसा होता था।
एग्जिक्यूटिव कैटेगरी की कीमतों में नहीं होता कोई बदलाव
बता दें कि ट्रेन में फर्स्ट एसी और एग्जिक्यूटिव कैटेगरी की कीमतों में कोई बदलाव नहीं होता है। इसमें शुरुआत में पहली 10 फीसद सीटों के लिए सामान्य किराया लागू होता है, इसके बाद प्रत्येक 10 फीसद बर्थ की बुकिंग के बाद किरायों में 10 फीसद की बढ़ोतरी कर दी जाती है। मांग के आधार पर इसमें अधिकतम 50 फीसदी तक किराया बढ़ता है।
सेकेंड एसी और चेयरकार के लिए अधिकतम 50 फीसदी की बढ़ोतरी होती है। वहीं थर्ड एसी के लिए यह सीमा 40 फीसद अधिक होती है। अन्य चार्जेस जैसे कि आरक्षण शुल्क, सुपरफास्ट शुल्क, कैटरिंग शुल्क और सेवा कर में बदलाव नहीं होता है। फ्लेक्सी फेयर स्कीम को 9 सितंबर, 2016 को 44 राजधानी, 46 शताब्दी और 52 दुरंतो (प्रीमियम सुपरफास्ट कैटिगरी) ट्रेनों के लिए लागू किया गया था।
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